Thursday, Nov 28, 2024 | Last Update : 04:33 PM IST
वीडियोकोन लोन केस में आईसीआईसीआई बैंक के चेयरमैन एमके शर्मा ने बैंक की सीईओ चंदा कोचर का बचाव करते हुए कहा कि कोचर लोन को मंजूरी देने वाली क्रेडिट कमेटी में शामिल थीं, लेकिन वो इसकी चेयरपर्सन नहीं थीं। साथ ही चंदा कोचर ने रिजर्व बैंक और बैंकिंग सेक्टर के कायदों के मुताबिक तमाम डिस्क्लोजर भी दिए थे।उन्होंने यह भी कहा कि कोई भी एक शख्स अकेले किसी कर्जदार को फायदा नहीं पहुंचा सकता।
आपको बता दें कि वीडियोकॉन को दिए गए 3250 करोड़ रुपए के लोन मामले में ICICI बैंक से लेकर सीईओ चंदा कोचर की शाख पर सवालिया निशान लगे हैं, चंदा कोचर के ऊपर आरोप लगने की वजह से ICICI बैंक पूरी तरह से हिल गया है जिसके लिए अब बैंक के चेयरमैन एम के शर्मा को इस मामले पर बयान देना पड़ा है।
ये है मामला-
दिसंबर 2008 में वीडियोकॉन समूह के मालिक वेणुगोपाल धूत ने बैंक की सीईओ और एमडी चंदा कोचर के पति दीपक कोचर और उनके दो संबंधियों के साथ मिलकर एक कंपनी बनाई थी, जिसमें दोनों के बीच 3250 करोड़ की स्वीट डील हुई थी अब आरोप है कि 3250 करोड़ का लोन दिलाने में चंदा कोचर ने मदद की लेकिन, इस लोन का 86 प्रतिशत यानी लगभग 2810 करोड़ रुपए 2017 में बैंक ने एनपीए घोषित कर दिया गया है। धूत लोन की रकम न चुकाने के बाद बैंकों द्वारा डिफॉल्टर घोषित किए जा चुके हैं।