भारतीय क्रिकेटर युवराज सिंह ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को हमेशा हमेशा के लिए अलविदा कह दिया है।युवराज सिंह ने मुंबई में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की। युवराज ने साल २००० में भारत के लिए अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्यू किया था। सिक्सर सिंग के नाम से मशहूर युवराज सिंह ने २०११ का वर्ल्ड कप जिताने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की थी। युवराज सिंह इस साल भी क्रिकेट वर्ल्ड कप में खेलना चाहते थे लेकिन खराब फॉर्म और फिटनेस के कारण उनका यह सपना अधूरा रह गया।
बता दें कि कैंसर से जंग जीतने के बाद युवराज सिंह ने क्रिकेट के मैदान में वापसी की थी, लेकिन कुछ खास प्रदर्शन नहीं करने की वजह से वो टीम से बाहर चल रहे थे। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में युवराज सिंह की एंट्री साल २००३ में हुई।
संन्यास लेने पर भावुक होकर युवराज ने कहा कि मैंने कभी हार नहीं मानी। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि २०११ का वर्ल्ड कप जीतना मेरे लिए सपने सरीखा था। मैंने अपने पिता का सपना पूरा किया। युवराज ने ३०४ वनडे खेले थे और ८७०१ रन बनाए थे। उन्होंने ५८ टी २० मुकाबले भी खेले थे जिसमें उन्होंने ११७७ रन बनाए। उन्होंने २००७ के टी २० वर्ल्ड कप में इंग्लैंड के पेसर स्टुअर्ट ब्रॉड के खिलाफ एक ओवर में छह छक्के जमाए थे।
३७ वर्षीय युवराज सिंह ने भारत के लिए अपना आखिरी वनडे मैच ३० जून २०१७ को वेस्टइंडीज के खिलाफ खेला था. युवी ने अपना आखिरी टी-२० मैच १ फरवरी २०१७ को इंग्लैंड के खिलाफ खेला. जबकि आखिरी टेस्ट मैच दिसंबर २०१२ में इंग्लैंड के ही खिलाफ खेला था।