पाटीदार समाज के नेता हार्दिक पटेल आरक्षण की मांग को लेकर एक बार फिर से सुर्खियों में है। बीते 9 दिनों से वो अपने घर में अनिश्चिकालीन भूख हड़ताल पर बैठे हैं। वह अपने समुदाय के लिए आरक्षण और किसानों की ऋण माफी की मांग को लेकर अनशन पर हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, खबर है कि उन्होंने अनिश्चिकालीन भूख हड़ताल के दौरान रविवार को अपनी वसीयत जारी की है। वसीयत में हार्दिक ने कहा कि वह चाहते हैं कि उनकी संपत्ति का बंटवारा माता-पिता (भरत पटेल और ऊषा पटेल) और एक गोशाला के बीच हो। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान उन्होंने कहा कि वे अपनी मृत्यु के बाद अपनी आंखें दान करना चाहते है।
गौरतलब है कि हार्दिक पटेल अपने समाज के प्रति आरक्षण और किसानों के लिए कर्ज माफी की मांग को लेकर 25 अगस्त से ही अनशन पर हैं। उन्होने एक बयान में कहा है कि उनका शरीर कमजोर हो चुका है वे दर्द और बीमारी से जूझ रहे है। इसके साथ ही उन्होने कहा कि इस शरीर पर मैं भरोसा नहीं कर सकता। मेरे शरीर से मेरी आत्मा कभी भी बाहर निकल सकती है। इसलिए मैंने अपनी अंतिम इच्छा की घोषणा करने का फैसला लिया।'
इस दौरान तृणमूल कांग्रेस, राकांपा और राजद समेत कई राजनीतिक दलों के नेताओं और प्रतिनिधियों ने पिछले नौ दिनों में पटेल से मुलाकात की है। हालांकि बीजेपी ने अभी तक इस मामले में कोई हस्तक्षेप नहीं किया है।