संसद में भी दिखा प्लास्टिक बैन का असर, कांच के गिलास में दिया गया सांसदों को पानी

Aazad Staff

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भारत में हर दिन लगभग 15,000 टन प्लास्टिक कचरा पैदा होता है।

प्लास्टिक हमारे पर्यावरण के लिए दिन प्रतिदिन खतरनाक साबित हो रहा है। कई राज्यों में प्लास्टिक पर रोक लगा दी गई है। प्लास्टिक पर लगे प्रतिबंद का असर आज संसद में भी नजर आया। प्?लास्?टिक पर लगे प्रतिबंद व इस मुहीम का साथ देते हुए संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने बुधवार को एक सराहनीय कदम उठाया है।

उन्?होंने सोशल मीडिया पर ट्वीट कर इसकी जानकारी दी। बदलाव मुझसे शुरू होना चाहिए। मैंने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि सर्वदलीय बैठकों, एनडीए मीटिंग और संसदीय एक्?जीक्?यूटिव मीटिंग में इस्?तेमाल होने वाले पानी की प्?लास्?टिक की बोतलों पर रोक लगाई जाए।

गौरतलब है कि कई राज्यों ने प्लास्टिक पर प्रतिबंध लगा दिया है। महाराष्ट्र में प्लास्टिक इस्तेमाल किए जाने वाले व्यक्ति पर जुर्माना व जेल का प्रावधान है। गुजरात ,दिल्ली, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु में कुछ प्रकार के प्लास्टिक पर प्रतिबंद लगाया गया है। वहीं जम्मू-कश्मीर, सिक्किम, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और राजस्थान समेत कई राज्य विभिन्न तरह के प्लास्टिक उत्पादों पर प्रतिबंध की घोषणा कर चुके हैं।

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