छोटी बच्चियों के साथ हो रहे दुष्कर्म के मामले कम होने का नाम नहीं ले रहे है। हालांकि केंद्र सरकार ने दुष्कर्म से जुड़े कई मामलों में कड़े कानून बनाए है। सरकार, बच्चियों व महिलाओं को सशक्त करने के लिए आत्मरक्षा का प्रशिक्षण अब सरकारी स्कूलों में भी दे रही है। सरकार ने सभी सरकारी स्कूलों में आत्मरक्षा का प्रशिक्षण अनिवार्य कर दिया है।
सरकारी स्कूल में यह ट्रेनिंग कक्षा एक से 12वीं तक पढ़ने वाली सभी बालिकाओं को दी जाएगी। पहले चरण में इस योजना के तहत देश भर के करीब 2.11 लाख स्कूलों को शामिल किया गया है। इनमें करीब 1.34 लाख प्राथमिक स्कूल भी शामिल हैं।
केंद्र ने बालिकाओं को प्रशिक्षण दिलाने की इस योजना के तहत राज्यों को 164 करोड़ रुपये से ज्यादा की वित्तीय मदद भी जारी कर दी है। वहीं योजना के तहत स्कूलों में साल में कम से कम दो बार एक-एक हफ्ते की विशेष ट्रेनिंग दिलाई जाएगी। जिससे बच्चियों के साथ होने वाले अपराधों पर ज्यादा से ज्यादा रोक लगाई जा सके।
उत्तर प्रदेश को सबसे ज्यादा 41 करोड़ की दी गई मदद
स्कूलों में बालिकाओं को आत्मरक्षा का प्रशिक्षण दिलाने के लिए केंद्र ने सबसे ज्यादा 41 करोड़ रुपये की राशि अकेले उत्तर प्रदेश को दी है। बता दें कि उत्तर प्रदेश में 45 हजार से ज्यादा स्कूलों को इसका लाभ मिलेगा। वहीं बिहार को पांच करोड़ रुपये की मदद दी गई है, इसका लाभ करीब छह हजार स्कूलों को मिलेगा।