बैंकों के साथ 9 हजार करोड़ की धोखाधड़ी करके भागे बिजनेसमैन विजय माल्या के खिलाफ सीबीआई की ओर से पेश किए गए तमाम सबूतों को ब्रिटेन की अदालत ने स्वीकार कर लिया है। माल्या के आग्रह पर सुनवाई 11 जुलाई तक टाल दी गई है।
उम्मीद है कि अगली सुनवाई के बाद इस मामले में मैजिस्ट्रेट कोर्ट के फैसले का रुख स्पष्ट हो जाएगा। माल्या के वकीलों ने की थी एक ओर सुनवाई की मांग केस में भारत सरकार का प्रतिनिधित्व कर रहे क्राउन प्रॉसिक्यूशन सर्विस (सीपीएस) द्वारा जमा कराए गए अतिरिक्त सुबूतों का जवाब देने के लिए माल्या के वकीलों ने एक और सुनवाई की मांग की थी।
हालांकि शुरुआत में कोर्ट यह मांग मानने से इन्कार कर रही थी। बाद में इसे स्वीकार कर लिया गया। केस की अगली तारीख को फैसले में देरी का हथकंडा बनाने के सवाल पर माल्या ने कहा, 'हम अपनी आखिरी मौखिक दलील देना चाहते हैं। इसमें कुछ गलत नहीं है और न ही यह फैसले में देरी की कोई चाल है।? गौरतलब है कि माल्या ने करीब 9,000 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी कर भारत से फरार है।